सैय्यद फरहान अहमद
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश।
मुकीम शाह जामा मस्जिद बुलाकीपुर के इमाम मौलाना मो. फिरोज निजामी ने कहा कि रमज़ान का महीना हर साल रहमत, बरकत, और मग़फिरत का न मिटने वाला खज़ाना लेकर हमारे बीच आता है। इस महीने का एक खास मकसद यह है कि हम परहेजगार बन जाएं। इस मुबारक महीने की कुछ ऐसी अहम जिम्मेदारियां हैं जिसे पूरा करना हर खास व आम मुसलमान का दीनी फरीजा है। रोज़े की हालत में भूख व प्यास के एहसास के जरिया हमें अपने आस-पास के मुसलमान भाईयों की जरूरतों का भी ख्याल करना चाहिए। रोजा हमें यह तालीम देता है कि हम खुद ही लजीज खानों और ठंडे शर्बतों से पेट न भरें बल्कि अपने गरीब मुफलिस, भूखे और खाली हाथ मुसलमान भाईयों की जरूरतों का भी ख्याल रखते हुए उनकी हरसंभव मदद करें।
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